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सूचना के अधिकार 2005 की धारा 8(J) का हवाला देकर... भ्रष्ट ठेकेदार की ढाल बने मनेन्द्रगढ़ थानाप्रभारी की खुली पोल...

सूचना के अधिकार 2005 की धारा 8(J) का हवाला देकर... भ्रष्ट ठेकेदार की ढाल बने मनेन्द्रगढ़ थानाप्रभारी की खुली पोल...  

हम आपको बता दें कि इन दिनों पुलिस की छवि को बरकरार रखने और जनता पर पुलिस का विश्वास कायम रखने कोरिया जिला के निहायती ईमानदार तेज तर्रार पुलिस अधीक्षक चंद्र मोहन सिंह के द्वारा कोरिया जिला के समस्त पुलिस थानों/चौकियों को उक्त अवैध कारोबारियों के विरुद्ध ताबड़तोड़ कठोर कार्यवाही करने कड़े तेवर में निर्देश दिया गया है| उक्त निर्देश का पूरी तरह ईमानदारी से पालन करते हुए थाना- चरचा,पटना,चिरमिरी, झगराखाण्ड की पुलिस छोटे-बड़े सभी अवैध कारोबारियों तथा अपराधियों पर लगातार गाज गिरा ताबड़तोड़ कार्यवाही की जा रही है| तथा उसके परिणाम भी अच्छे आ रहे हैं| चाहे अवैध महुआ शराब 2-3 लीटर व 5 -10 लीटर तक ही क्यों न हो या फिर ताश की 52 पत्ती सहित 2000-3000 तक जुआरियों से तथा चोरों से सामान जप्त कर जनता और मीडिया के सामने उजागर कर तारीफे भी लूटते नजर आ रहे हैं| लेकिन कुछ ऐसे भी थाना प्रभारी हैं जो अपनी आदतो से बाज न आकर पुलिस की छवि को  धूमिल करने तुले हुए हैं अब ऐसे उक्त थानाप्रभारी पर जनता का कैसे विशवास कायम रहेगा पुलिस अधीक्षक ही जाने गौर करने वाली बात है कि सूत्रों के अनुसार मनेन्द्रगढ़ के युवा थानेदार जो ईमानदारी के पुतले और असहाय जरूरतमंद गरीबों को अपने वेतन से दान भी करते हैं ज्ञात हो कि विगत दिनों एक नगर सैनिक के किडनी के उपचार हेतु उन्होंने अपने वेतन से सहयोग राशि देकर स्टाफ के प्रति अपना प्रेम प्रकट कर कुछ दिनों तक सुर्खियों में बने रहे किंतु उक्त थानेदार के अधिकार क्षेत्र आमाखेरावा रेस्को कॉलोनी में एक SECL ठेकेदार प्रवीण सिंह के द्वारा शासन के नियमो की धज्जियां उड़ाते हुए उक्त थानेदार के नाकों तले विधि विपरीत बिना सुरक्षा के ठेका मजदूरो से टारफिल्टिंग का कार्य दिनांक 19.12.2020 को कमर्शियल गैस सिलेंडर 19 K.g. वाले से न करा कर रशोई गैस सिलेंडर से कराया जा रहा था उक्त दौरान उक्त रशोई गैस सिलेंडर के लीक हो जाने से बड़ा विस्फोट हो गया और आग लग गई थी तथा उक्त आग की चपेट में आकर ठेका मजदूर दुर्गेश और कमलेश का हाथ कुछ हद तक जल गया था वहीँ एक अन्य ठेका मजदूर राजा अंसारी निवासी रामनगर जो करीब 22-24 फीट ऊंची बिल्डिंग की छत से गिरकर बुरी तरह गंभीर रूप से घायल हो गया था तथा उक्त मजदुर के मस्तक में 08-10 टांके लगाए गए थे इसके अतरिक्त उसका एक हाथ भी टूट गया था| उक्त घटना की जानकारी मनेन्द्रगढ़ के युवा थानेदार को होते हुए भी क्या फंडा हैं जो उक्त ठेकेदार के विरुद्ध उक्त थानेदार द्वारा किसी भी प्रकार का एक्शन न लेकर चुप्पी साधे उक्त प्रकरण को दबा दिया गया था उक्त वजह से उक्त थानेदार की ईमानदारी पर कई सवाल उठ रहे हैं तब उक्त प्रकरण की हकीकत जानने हेतु जनहित में उक्त घटना से अवगत कराते हुए उक्त ठेकेदार के विरुद्ध कार्यवाही की मांग करते हुए दिनांक 20.01.2021 को शिकायत की गई थी लेकिन न जाने किस दबाव के चलते उक्त थानेदार के द्वारा उक्त प्रकरण पर आज दिनांक तक कोई कार्यवाही न कर उक्त प्रकरण को पुन: दबा कुम्भकर्णी नींद में सोते नजर आ रहे हैं| उक्त वजह से विवश होकर उक्त शिकायत पर किये गए कार्यवाही के संबंध में आरटीआई के तहत दिनांक 03.02.2021 को उक्त घटना स्थल से उक्त ठेकेदार के कब्जे से कौन-कौन की वस्तुये जप्त की गई से संबंधित जानकारी हेतु आवेदन किया गया था तो उक्त जनसूचना अधिकारी एवं थाना प्रभारी मनेन्द्रगढ़ के द्वारा शायद भ्रष्टाचार उजागर होने की डर से उक्त सूचना के अधिकार अधिनियम की धारा 8(J) का हवाला देकर उक्त मांगी गई जानकारी को बंधन कारी बताकर उपलब्ध न करा उक्त भ्रष्टाचारी ठेकेदार को सपोर्ट किया जा रहा है लेकिन उक्त जन सूचना अधिकारी एवं थाने थाना प्रभारी शायद भूल गए हैं कि ऐसी जानकारी को सूचना के अधिकार अधिनियम 2005 के अपील की धारा 19 के तहत प्राप्त करने आवेदक को पूरी छूट दी गई है उक्त धारा के तहत भ्रष्टाचार तो उजागर हो के ही रहेगा आंखिर कब तक उक्त भ्रष्ट ठेकेदार को बचाते हैं थानेदार | जब कभी किसी भ्रष्टाचारी की पोल खोलने आरटीआई के तहत आवेदन लगाए जाते हैं तो अक्सर उक्त भ्रष्टाचारी से मिलीभगत कर उक्त भ्रष्टाचारी को बचाने इसी तरह समस्त विभागों में पदस्त जनसूचना अधिकारियो द्वारा उक्त सुचना के अधिकार अधिनियम 2005 की धारा 8(J) का हवाला देकर उक्त भ्रष्टाचारियो की ढाल बन सामने आड़े आ जाते हैं| वर्तमान में ज्ञात हुआ हैं की ऐसे मामलो में जिम्मेदार तहसीलदार/एसडीएम मनेन्द्रगढ़ को भी उक्त ठेकेदार के विरुद्ध एक्शन लेना चाहिये लेकिन एक्शन नहीं लेने की वजह से ही इस प्रकार की घटना को अंजाम देकर प्रवीण सिंह जैसे ठेकेदार साफ़ बच निकलते हैं | अब देखना ये हैं की उक्त प्रकरण पर जिम्मेदार अधिकारियो द्वारा एक्शन लिया जाता हैं या फिर उक्त प्रकरण को ठन्डे बस्ते में डाल दफ़न कर प्रवीण सिंह जैसे ठेकेदारों को सहयोग प्रदान करते रहंगे |


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