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नगर पालिका सीएमओ एवं संबंधित अधिकारियो द्वारा अपने चहेतों को दिए जा टेंडर... अन्य ठेकेदारों ने आरोप लगा... खोली भ्रष्टाचार की गुत्थी... ||Chhattisgarh Lions||

नगर पालिका सीएमओ एवं संबंधित अधिकारियो द्वारा अपने चहेतों को दिए जा टेंडर... अन्य ठेकेदारों ने आरोप लगा... खोली भ्रष्टाचार की गुत्थी...  ||Chhattisgarh Lions||


इन दिनों कोरिया जिले में कुछ विभाग में टेंडर के पश्चात भी नियमो को दरकिनार कर करीबियों को काम देने की होड़ मची हुई हैं जहाँ शिकायत के पश्चात भी कार्यवाही नही होने को लेकर अब उक्त मामला जिले में तूल पकड़ता नजर आ रहा इसके बावजूद भी जिले के जिम्मेदार अधिकारी उक्त मामले में कुछ भी कहने से अपना पल्ला झाड़ते नजर आए वही उक्त अधिकारी व जनप्रतिनिधि में जिसे चाहे उसे ही काम देने की होड़ मची हुई हैं चाहे वह आरईएस विभाग, पीडबल्यूडी विभाग या नगरपालिका परिषद् हो हर जगह पर निविदा तो निकलती है पर मिलता उन्हीं को है जो अधिकारी व जनप्रतिनिधि के करीबी हैं ऐसा ही एक मामला फिर सामने आया जहां 18 प्रतिशत बिलो में काम के लिए टेंड़र डालने वाले को टेंड़र नहीं मिला वही 3 प्रतिशत बिलो में टेंड़र भरने वाले एक ठेकेदार को नगर पालिका में कार्य का टेंडर मिल गया वहीं जिन अन्य ठेकेदारों ने निविदा भरा था उनके निविदा बंद लिफाफे के साथ भी छेड़ छाड़ कर कुछ दस्तावेज गायब कर दिया गया और नगर पालिका ने मेल के माध्यम से लिफाफे में कुछ दस्तावेज न होने की बात कहते हुए उन्हें अपात्र घोषित कर दिया गया तथा उक्त मामला जांच का विषय बना हुआ है वहीं इसकी शिकायत कलेक्टर तक हो चुकी है और उक्त निविदा को निरस्त करने की गुहार भी लगाई गई है।

मिली जानकारी के अनुसार नगरपालिका परिषद् बैकुन्ठपुर के अंतर्गत छठ घाट निर्माण के लिए 28 लाख व चेर मुक्ति धाम निर्माण कार्य के लिए 43.43 लाख का आनलाईन निविदा 10 सितम्बर 2020 को निकाला गया था, जिसमें चार चार लोगों ने उक्त काम हेतु निविदा भरा था जिसमें से एक ठेकेदार ने 18 प्रतिशत कम, दूसरे ठेकेदार ने 24 प्रतिशत कम में निविदा भरा था वहीं अधिकारी व जनप्रतिनिधियों के करिबी ठेकेदार ने 3 प्रतिशत बिलो में निविदा भरा था, निविदा खुलने की तिथि 26 सितम्बर 2020 निर्धारित थी किन्तु उक्त तिथि पर निविदा नहीं खोला गया, बाकी के ठेकेदारों ने नगरपालिका परिषद् बैकुन्ठपुर के सीएमओ पर ठेकेदारों ने गड़बड़ी का आरोप लगाया है कि अपनो को काम देने के लिए डेढ़ महिने विलंब से 6 नवम्बर 2020 को खोला गया, निविदा खुलने की उक्त जानकारी सिर्फ एक ठेकेदारों को दी गई बाकी ठेकेदारों को नहीं दी गई यहां तक कि टेंड़र खुलने के समय नगरपालिका परिषद बैकुन्ठपुर अध्यक्ष भी वहां मौजुद नहीं रहे, टेंड़र का गलत तरीके से खुलना ही एक ठेकेदार व सीएमओ पर सवालिया निशान बनता है। वहीं अन्य ठेकेदारों ने उक्त निविदा को गलत तरीके से खोलने की बात कही है वहीं उक्त सभी ठेकेदारों ने निविदा को आनलाईन भरा था जिसमें सारे दस्तावेज उन्होंने अपलोड़ किए थे वहीं सारे दस्तावेजों को बंद लिफाफा में कार्यालय में जमा किया गया था पर निविदा खुलने के दिन उन्हें मेल पर लिफाफा में सपथ पत्र न होना बताते हुए अपात्र घोषित कर दिया गया जब ठेकेदारों ने कहा कि इतने वर्ष से हम टेंड़र डाल रहे हैं, क्या दस्तावेज लगने हैं उक्त जानकारी हमें रहती है, हमनें सारे दस्तावेज बंद लिफाफा में जमा किया गया था। तो फिर दस्तावेज कम कैसे हो गया हमे क्यो निविदा खुलने के संबंध में सूचना नही दिया जिससे विभाग की कार्यशैली पर सवाल उठना लाजमी हैं|

जब उक्त मामला बड़ा तूल पकड़ा तो सेटलमेंट करने में जुट गए कुछ अधिकारी व ठेकेदार उक्त मामला प्रकाश में आने के बाद, सीएमओ के उपर आरोप लगने लगे वहीं मामला बढ़ता देख ठेकेदार व कुछ अधिकारी अन्य संबंधित ठेकेदारों को मैनेज करने में लगे हुए हैं तथा उक्त मामले को दबाने का पूरा प्रयास भी किया जाने लगा है पर उक्त पिड़ित ठेकेदार ने नगरपालिका परिषद् बैकुन्ठपुर के कर्मचारी एवं इंजिनियर व अधिकारी को साफ कह दिया कि अगर इसी प्रकार निविदाओं में अनिमितता बरती जायेगी तो जिले के बाकी ठेकेदार क्या करेंगे, इसलिए उक्त टेंड़र को नियम से निरस्त करने के लिए कोरिया कलेक्टर सहित नगरिय निकाय मंत्री शिव कुमार डहरिया व उच्चाधिकारियों को पत्र लिख कर उक्त मामले की जानकारी देते हुए उक्त निविदा को निरस्त करने की मांग की गई है।

अभी एक और टेंड़र खुलना है वह भी एक ठेकेदार को ही मिलने की संभावना जिला मुख्यालय स्थित प्रेमाबाग में 26 लाख की लागत से तालाब गहरीकरण एवं सौदर्यीकरण कार्य कराए जाने के लिए नगरपालिका परिषद् बैकुन्ठपुर द्वारा टेंड़र जारी किया गया था जिसमें 9 लोगों ने निविदा भरा था जिसमें एक ठेकेदार ने कार्य को लेने अन्य सभी ठेकेदारों को मैनेज करने पूरा प्रयास किया जा रहा जब कि उक्त कार्य को भी 3 प्रतिशत बिलो में काम मिलना तय माना जा रहा है। यदि ऐसा होता है तो यह साफ हो जायेगा कि इसमें नगरपालिका परिषद् बैकुन्ठपुर के अधिकारी व कर्मचारियों की सांठ-गांठ चल रही है।

नगरपालिका परिषद बैकुन्ठपुर अध्यक्ष को भी नहीं है उक्त टेंडर की जानकारी वही इतना बड़ा टेंड़र खुल गया और कई अनिमितताऐं सामने आ रही है लेकिन उक्त समुचित जानकारी नगरपालिका परिषद बैकुन्ठपुर अध्यक्ष अशोक जायसवाल को भी नहीं है, पूछे जाने पर अशोक जायसवाल ने कहा कि मुझे टेंड़र कब खुला इसकी जानकारी ही नहीं है और न ही मैं वहां मौजुद था। उक्त संबंध में जानकारी लेने के लिए नगरपालिका परिषद् बैकुन्ठपुर सीएमओ से कई बार संपर्क किया गया लेकिन उनसे संपर्क नहीं हो पाया।

शासन को अधिकारी पहुंचा रहे हैं नुकसान जो काम ठेकेदार 15 से 28 प्रतिशत बिलो में करके शासन की लाखों रूपए की बचत कर रहे उन्हें यह काम न देकर 3 प्रतिशत बिलो में काम करने वाले ठेकेदार को काम देकर संबंधित अधिकारियो के द्वारा शासन को लाखों रुपयों का चूना लगाया जा रहा है बहरहाल किस वजह से अधिकारी ऐसा करने के लिए उतारू हैं यह लोगों के समझ से परे है क्योंकि यह जिला मुख्यालय में स्थित किसी एक विभाग नहीं बल्की कई विभागों में इसी तरह की भर्राशाही खुलेआम चल रही है जिसकी जानकारी संबंधित विभाग के आला अधिकारियों व मंत्रियों को है इसके बाद भी अफसरों की इस तरह की कारिस्तानी रूकने का नाम ही नहीं ले रही है। वहीं जिले के कुछ विभाग के अधिकारियों की मेहरबानी से सरकारी खजाने की खुलेआम लूट मची हुई है अगर समय रहते इस पर अंकुश नहीं लगा तो आने वाले समय में स्थिति और भी बत्तर हो सकती है।

भाजपा ने साधा निशाना उक्त संबंध में भाजपा नेताओं ने बताया कि कांग्रेस सरकार में हर विभाग में अधिकारियों व जनप्रतिनिधियों का कब्जा बना हुआ है पर सवाल यह उठता है कि यदि किसी व्यक्ति विशेष को ही काम देना है तो निविदा की प्रक्रिया का क्या मतलब सीधे काम ही दे दें, निविदा निकालकर औपचारिकता पूरी कर सभी की आंखों में धूल झोंकने से क्या फायदा ।

  • प्रदीप कुशवाहा ब्लॉक रिपोर्टर मनेन्द्रगढ़ की रिपोर्ट 

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